Monday, 24 March 2025

रहा ना जाय!!

आधी  रात

पूरी - अधूरी  बात ,

उफ़ ये चाय 

किस की क्या राय  ?

आधा हिस्सा 

अघरा किस्सा ,

आधी - मधुरी मुलाकात 

लगा रहे वाट,

आधी तकरार

आधी हार 

पूरा अधूरा स्वीकार,

उफ़ ये चाय 

आये हाय ,

आधा इनकार 

थोड़ा थोड़ा प्यार,

अधूरा इकरार,

जुड़ रहे है तार

सुनो ओ यार, 

 ये वार 

लगा है नदियों पार ,

उफ़ ये चाय 

उसपे छाये,

आधा चाँद 

पूरा सवेरा, 

सुनहरी किरणे 

रूह कांपती लहरे,

कर्कश नग़मे 

अधूरे मधुरे तराने, 

उफ़ ये चाय 

है गहरी खाई,

थोड़ी शैतानी 

नादानी, खींचातानी,

बहूत छेड़खानी ,

आधी सुनी 

अधूरी अनसुनी,

 देखि, अनदेखी 

थोड़ी अनदेखी भी देखि,

उफ़ ये चाय 

रहा ना जाय,

थोड़े  हिस्से

अधूरे किस्से,

आधी कहानी 

किसी और दिन सुनानी,

उफ्फ़ ये चाय!!

हेलो हाय बाये बाये